Budget 2025: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण में 1 फरवरी को मोदी सरकार 3.0 का पूर्ण बजट पेश किया है जिसमें आम लोगों से लेकर खास लोगों के लिए कुछ- न कुछ आया है तो वहीं बिहार में विधानसभा चुनाव को देखते हुए काफी कुछ एलान कर दिया है जिसके बाद ऐसा कहा जा रहा है कि इस बार के बजट में बिहार को काफी खुश होगा तो वहीं इसके साथ- साथ वित्त मंत्री ने कहां है कि अब 12 लाख सलाना तक कोई टैक्स नहीं लेगा मतलब हर महीने आप आराम से एक लाख रुपये महीने कमाए आपका एक भी रुपये टैक्स नहीं कटेगा.
वहीं सरकार एक और बड़ा ऐलान किया है कि अगले सप्ताह तक News Income Tax का बिल आएगा. इस बिल कुछ- कुछ बड़ा हो सकता है क्योंकि अगले पांच दिनों में दिल्ली का विधानसभा चुनाव है शायद इस कारण इस बिल को अभी नहीं लाया गया है! लेकिन फिलहाल सरकार ने एलान कर दिया है अब इस खबर में विस्तार से बजट की खास बातों को समझते हैं तो वहीं सोशल मीडिया में कुछ वायरल हो रही वीडियो पर भी एक नजर देखते हैं.
No Tax का गणित
अब जिन लोगों की सैलरी सालाना 12 लाख रुपये है, उन्हें कोई टैक्स नहीं देना होगा. हालांकि, अगर सैलरी 12 लाख से ज्यादा है तो सिर्फ 4 लाख रुपये तक ही टैक्स में छूट मिलेगी. वित्त मंत्री ने बताया कि 0-4 लाख रुपये की आय पर कोई इनकम टैक्स नहीं चुकाना होगा. वहीं, 4-8 लाख रुपये की आय पर 5 फीसदी, 8-12 लाख रुपये की आय पर 10 फीसदी, 12-16 लाख रुपये की आय पर 15 फीसदी, 16-20 लाख रुपये की आय पर 20 फीसदी, 20 से 24 लाख रुपये की आय पर 25 फीसदी और 24 लाख रुपये से अधिक की आय पर 30 फीसदी टैक्स लगेगा.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बिहार के लिए 10 बड़े एलान किए हैं. बजट में पटना एयरपोर्ट और पटना IIT का विस्तार करने से लेकर मिथिलांचल में कोसी नहर परियोजना की घोषणा की गई है.बता दें कि पूर्वोदय स्कीम के अंतर्गत केंद्र सरकार का बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल, ओडिशा और आंध्र प्रदेश पर केंद्र सरकार का विशेष फोकस है. इस बीच बिहार को लेकर सोशल मीडिया पर कई मजेदार मीम्स वायरल हो रही है.
अगले हफ्ते आएगा New Income Tax बिल
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2025-26 प्रस्तुत करते हुए घोषणा की है कि सरकार अगले सप्ताह एक नया आयकर विधेयक पेश करेगी. इस विधेयक का उद्देश्य आयकर प्रणाली को सरल, स्पष्ट और पारदर्शी बनाना है, जिससे करदाताओं के अनुपालन बोझ को कम किया जा सके. वित्त मंत्री ने कहा कि नया आयकर विधेयक मौजूदा कानून की तुलना में आधे आकार का होगा और इसमें मध्यम वर्ग के लिए आयकर सुधार, टीडीएस के सरलीकरण और अनुपालन बोझ को कम करने के उपाय शामिल होंगे.